सिरदर्द (Headache)
सिरदर्द (Headache)
सिर में दर्द होना, रोगों के कारण होता है। पेट की गैस (गैस्ट्राइटिस), स्नायुदुर्बलता तथा ब्लड प्रेशर के रोगी को रात-दिन सिर दर्द बना रहता है। रस एवं रक्त का दोषपूर्ण होना रोग का कारण है।
रोग के मुख्य कारण
(1) अन्य कई रोगों के कारण सिर दर्द होने लगता है। शरीर की कमजोरी में यह रोग होता है।
(2) कब्ज, अनिद्रा, संक्रामक रोगों से ग्रसित रोगी को सिर दर्द होने लगता है।
(3) अधिक मानसिक परिश्रम, चिन्ता, हिस्टीरिया, मृगी, नजला-जुकाम, तेज धूप में ज्यादा सफर करना, रोग के कारण है।
रोग के प्रमुख लक्षण
(1) सिर में तेज दर्द होना, बेचैनी नींद न आना आदि लक्षण होते हैं।
(2) सिरदर्द के साथ, कै, मिचली, आदि विकार भी होते हैं।
(3) सिर में दोनों तरफ की कनपटी में एवं सिर के पीछे तेज दर्द होता है।
(4) किसी को इतना दर्द होता है कि रोगी उठ-बैठ नहीं पाता।
महत्वपूर्ण - सिर दर्द स्वयं रोग नहीं है, बल्कि दूसरे रोग का लक्षण है इसलिये सर्वप्रथम रोग के कारणों को दूर करें। पाचन संस्थान एवं नर्वस सिस्टम को मजबूत करें।
इलेक्ट्रोहोमियोपैथी चिकित्सा -
(1)S10 + A3 + F1 + G.E. प्रत्येक 10 - 10 बूंद पानी संग दिन में चार बार दें।
(तीव्र) Acute रोगों में - 15 - 15 मिनट के अन्तराल पर दें।
(2)C10 + S5 + F1 + S.Y. प्रत्येक 10 - 10 बूंद दवा दे। दिन में चार बार रोग तीव्र होने पर दवा 15 - 15 मिनट पर दे दें । सिर पर (माथे पर) वाह्य प्रयोग किसी ठण्डे तेल में मिलाकर सिर एवं कनपटी पर मालिस करें।
F1 + G.E. प्रत्येक 15 - 15 बूंद दवा - 50 ग्राम तेल में मिलायें
सहायक चिकित्सा - सिर माथे पर बर्फ की थैली या ठण्डा पानी रखें। कब्ज दूर करें, खुली एवं पर्यटन स्थल पर सैर करायें।
परहेज - एल्कोहल, एसिडिक भोजन, अति मैथुन, मानसिक श्रम बन्द करें
पथ्य - पौष्टिक, सादा भोजन लें। हल्का व्यायाम करें।
- इलेक्ट्रो होमियोपैथी से संबंधित इस वेब पोर्टल पर इस पैथी से जुड़ी हर इस कड़ी को जोड़ा जाएगा
- जो इलेक्ट्रो होम्योपैथी के विकास के लिए आवश्यक होगी। सभी मित्रों से संभव सहयोग की आशा करता हूँ।
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ReplyDeleteThanks for reply
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